
अमृतसर। उत्तरी जोनल काउंसिल की 31वीं बैठक आज अमृतसर में शुरू हुई। बैठक की अध्यक्षता केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने की। बैठक में शामिल होने हिमाचल के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खु, हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल, दिल्ली के उपराज्यपाल विनय कुमार, जम्मू कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा व लद्दाख के उपराज्यपाल बी मिश्रा भी अमृतसर पहुंचे। इससे पहले सभी ने सुबह श्री हरमंदिर साहिब में माथा टेका। इस दौरान शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की ओर से श्री हरमंदिर साहिब के सूचना केंद्र में इन मेहमानों को सम्मानित किया गया। इस मीटिंग में पंजाब के सीएम भगवंत मान ने सभी गण्यमान्यों का स्वागत किया। इस बैठक में हरियाणा, हिमाचल प्रदेश और राजस्थान के मुख्यमंत्रियों के साथ-साथ चंडीगढ़ के प्रशासक और जम्मू-कश्मीर, लद्दाख व दिल्ली के उपराज्यपाल भी शामिल हुए। बैठक में मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बकाया आरडीएफ का मुद्दा उठाया। सीएम ने कहा कि यह मसला मेरे दिल के सबसे नजदीक है।
सीएम मान ने कहा कि पंजाब का किसान लगातार कर्ज के बोझ तले दब रहा है लेकिन केंद्र सरकार की नजर में किसान सबसे अनदेखा है। किसानों के प्रति केंद्र सरकार ने सौतेली मां वाला रुख अपनाया हुआ है। मान ने कहा कि पंजाब ने अपनी जरूरत से ज्यादा अनाज उगाया है। हमने अपनी धरती और पानी दोनों खराब कर लिए हैं। बदकिस्मती से पंजाब और किसानों को उनका हक नहीं मिल रहा है। एफसीआई के लिए अनाज खरीद के बदले पंजाब के खर्चे की भरपाई जानबूझकर नहीं की जा रही। मान ने कहा कि हर साल राज्य का घाटा बढ़ता जा रहा है।
वहीं बैठक में चंडीगढ़ को सिर्फ पंजाब की राजधानी बनाने का मुद्दा भी उठाया गया। सीएम मान ने कहा कि चंडीगढ़ पंजाब के गांवों को उजाड़ कर बनाया गया है। पंजाब की राजधानी के तौर पर चंडीगढ़ का दर्जा बहाल किया जाए व पंजाब की लंबे समय से लटकी मांग को पूरा किया जाए। मीटिंग में हरियाणा ने अपने कॉलेजों को पीयू से मान्यता देने का मुद्दा उठाया जिसे मुख्यमंत्री मान ने सिरे से खारिज किया। मान ने कहा कि पंजाब यूनिवर्सिटी हमारी विरासत है।
पिछले 50 साल से हरियाणा ने कोई मान्यता नहीं ली अब ऐसे क्या हालात बदल गए कि मान्यता की जरूरत है। मान ने कहा कि मेरी अपील है कि इस मसले को आगे के लिए भी खत्म समझा जाए। एनजेडसी की मीटिंग के एजेंडे से भी इसको हटा दिया जाए। सीएम ने कहा कि हमने पंजाब यूनिवर्सिटी के वित्तीय घाटे को दूर किया। हमने ग्रांट-इन-एड को बढ़ाकर 94.13 करोड़ रुपये कर दिया। यूनिवर्सिटी में नए हॉस्टल के लिए हमने फंड जारी किया। मान ने मांग की कि केंद्र सरकार भी यूजीसी पे-स्केल का फंड जारी करे।