आयुर्वेदिक एंड यूनानी बोर्ड की मीटिंग में शामिल हुए नीमा प्रधान व बोर्ड सदस्य डॉ. एसपी डालिया व डॉ. पवन वशिष्ट

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मीटिंग में क्लिनक बोर्ड पर रजिस्ट्रेशन नंबर लिखने व क्रैडिट प्वाइंट्स के बारे में दी गई जानकारी..

नीमा प्रधान व बोर्ड सदस्य डॉ. एसपी डालिया ने कहा, नईं कार्यप्रणाली को समझें व इसको अमल में जरूर लाएं…

टाकिंग पंजाब

जालंधर। पंजाब के सभी डॉक्टरों को बोर्ड के कामकाज व क्रैडिट प्वाइंट्स के बारे में बताने के लिए पंजाब आयुर्वेदिक एंड यूनानी मेडिसन बोर्ड की तरफ से एक मीटिंग का आयोजन किया गया। इस मीटिंग में बोर्ड के रजिस्ट्रार डॉ. संदीप गोयल के अलावा कईं सदस्य उपस्थित हुए। इस मीटिंग में जालंधर जिले के नव नियुक्त नीमा के प्रधान व बोर्ड सदस्य डॉ. एसपी डालिया व बोर्ड सदस्य डॉ. पवन वशिष्ट शामिल हुए। इस मीटिंग में बोर्ड के रजिस्ट्रार डॉ संदीप गोयल ने कहा कि पंजाब में जितने भी बीएमएस डॉक्टर हैं, वह अपने क्लिनक के बोर्ड पर अपना रजिस्ट्रेशन नंबर जरूर लिखाएं व रजिस्ट्रेशन की कॉपी क्लिनिक पर जरूर लगाएं।   उन्होंने इस दौरान डॉक्टरों के लिए बनाए गए क्रैडिट प्वाइंट्स के बारे में भी बताया। उन्होंने कहा कि अब आयुर्वेदिक डॉक्टरों को भी बोर्ड ऑफ आयुर्वेदिक एंड यूनानी सिस्टम से रजिस्ट्रेशन रिन्यूवल करवाने के लिए पांच साल में 50 क्रैडिट प्वाइंट्स कमाने होंगे। इसके लिए उन्हें बोर्ड की ओर से अप्रूव्ड सीएमई यानि कि कंटीन्यू मैडीकल एजुकेशन, कांफ्रैंस, वर्कशाप, हैंड ऑन ट्रेनिंग प्रोग्रामों को अटैंड कर स्किल को इंप्रूव करना होगा। इलाज की नए तरीकों से खुद को अपडेट करना होगा।   इतन ही नहीं, आयोजकों को सीएमई के आयोजन से दो महीने पहले राज्य के बोर्ड ऑफ आयुर्वेदिक एंड यूनानी सिस्टम के पास प्रपोजल जमा करवाना होगा। उनके प्रपोजल को नैशनल कमीशन फॉर इंडियन सिस्टम ऑफ मैडिसन बोर्ड ऑफ एथिक्स एंड रैग्युलेशन को फारवर्ड कर देंगे। यदि बोर्ड सीएमई को मंजूरी दे देता है तो सीएमई को विषय, वक्ताओं के स्टेट्ससीएमई पेश रिसर्च पेपरों की क्वालिटी के आधार पर क्रैडिट प्वाइंट्स भी अलॉट होंगे, जो सीएमई में भाग लेने वाले सभी डॉक्टरों के है।   जिन डॉक्टरों की रजिस्ट्रेशन 28 फरवरी 2025 से पहले ड्यू है, उन्हें क्रैडिट प्वाइंट्स अर्जित नहीं करने पड़ेंगे। वहीं 70 साल से अधिक उम्र वाले डॉक्टरों पर रजिस्ट्रेशन रिन्यूवल के लिए क्रेडिट प्वाइंटस की शर्त लागू नहीं होगी। सीएमई के बाद डॉक्टरों को पार्टिसिपेशन सर्टीफिकेट भी मिलेगा, जो पांच साल बाद रजिस्ट्रेशन रिन्यूवल करवाते वक्त पेश करने होंगे। इसके चलते नीमा के प्रधान डॉ. एसपी डालिया व बोर्ड सदस्य ने संस्था के सभी सदस्यों से अपील की है कि वह बोर्ड की इस नईं कार्यप्रणाली को समझें व इसको अमल में जरूर लाएं।

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