जिसकी खुद की दाढ़ी-बाल कटे हुए हैं उस व्यक्ति ने विधानसभा के भीतर सिखों के चिन्हों का अपमान किया है- मजीठिया
टाकिंग पंजाब
चंडीगढ़। बीते दिनी गुरुद्वारा एक्ट में संशोधन पर बुलाए गए विशेष सेशन में पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बिना नाम लिए शिरोमणि अकाली दल के प्रधान सुखबीर बादल पर तंज कसते हुए कहा था कि वह उन लोगों में से नहीं हैं जो मुसीबत आने पर या फिर चुनाव आने पर अपनी दाढ़ी खोल लेते हैं व जब सत्ता में होते हैं तो दाढ़ी को बांध लेते हैं। सीएम मान की इसी टिप्पणी पर नाराजगी जाहिर करते हुए शिरोमणि अकाली दल ने उनकी इस टिप्पणी को अशोभनीय बताया। उनका कहना है कि यह सिख धर्म व सिखों को गुरु साहिबान द्वारा दिए गए पांच ककारों का अपमान है।
इस बारे में अकाली नेता बिक्रम सिंह मजीठिया ने ट्वीट करते हुए कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान का स्तर बिल्कुल नीचे गिर गया है। अब सिखों की निशानियों पर भी हमले बोलने लगे हैं। जिसकी खुद की दाढ़ी-बाल कटे हुए हैं उस व्यक्ति ने विधानसभा के भीतर सिखों के चिन्हों का अपमान किया है। उन्होनें आगे कहा कि इससे सिख समुदाय की भावनाओं को ठेस पहुंची है कि एक ‘पतित’ सिख जो अपने नाम के साथ ‘सिंह’ शब्द का प्रयोग नहीं करता है, वह हमारी आस्था के पवित्र प्रतीकों का अपमान कैसे कर रहा है। सीएम को संगत से माफी मांगनी चाहिए और अपनी भद्दी टिप्पणी वापस लेनी चाहिए।
इसके साथ ही अकाली दल के नेताओं ने मुख्यमंत्री को चेतावनी देते हुए वह विधानसभा में बोले गए अपने शब्दों को वापस लेने को कहा है। अकाली नेताओं ने चेतावनी देते हुए कहा है कि यदि मुख्यमंत्री भगवंत मान ने माफी नहीं मांगी तो वह इसकी शिकायत श्री अकाल तख्त साहिब पर करेंगे। बता दें कि सीएम मान ने इस टिप्पणी के साथ ही कहा था कि उन्हें जहां पर पर श्री निशान साहिब या फिर कोई गुरुघर नजर आता है, वहीं पर उनका सिर झुक जाता है। वह गुरुघर में भी जाते हैं तो लाइन में लगकर माथा टेकते हैं, लेकिन जब बादलों का परिवार जाता है तो कीर्तन करने वाले भी प्रोटोकॉल तोड़कर हाथ जोड़ बाबू जी बाबू जी करने लगते हैं।